
SMS Help line to Address Violence Against Dalits and Adivasis in India
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बुरहानपुर जिले की नेपानगर तहसील के ग्राम तांदली हिंगना रैयत में निवास करने वाले दलित परिवारों ने सामुहिक आवेदन पत्र देकर गांव के दबंग चंपाचाल जैसवाल और उसके साथियों पर जान से मारने की धमकी देकर थाने में झूठी रिपोर्ट दर्ज कर फंसाने का आवेदन दिया है। पीड़ितों का कहना है कि - गांव में सैकड़ों सालों से छुआछूत, जातिगत भेदभाव चला आ रहा है, उनके गांव तांदली में लगभग सौ सालों से एक कुआं है जिसका पानी सभी लोग पीने के लिये करते थे, लेकिन दलित वहां का पानी नहीं ले सकते थे। कुछ सालों पहले कुछ दलितों ने वहां से पानी लेना शुरु किया तो उंची जाति वालों ने कुएं को अछूत घोषित कर वहां से पानी लेना बंद कर दिया। समय के साथ कुएं का पानी सूखने लगा तक सवर्णों ने उस कुएं में कचरा डालने लगे। कुआं बंद हो गया तब दलितों ने वहां पर चबूतरा बना कर बाबा साहब की फोटो रख कर हर साल बाबा साहब की जयंति मनाने लगे। और उसी जगह पर एक स्वागत द्वार भी बना लिया।
27 अप्रैल 2021 को आरोपी चंपालाल ने गांव की नवसाबाई पति भुरेखा को उकसा कर स्वागत द्वार तोड़ दिया और विरोध करने आई दलित महिलाओं को जातीसूचक गालियां देकर जान से मारने की धमकी दी। इसके बाद वह नेपानगर थाने गया और वहां पर पुलिसकर्मियों को रिश्वत देकर दलितों के विरुद्ध झूठी रिपोर्ट दर्ज करा दी। तत्कालीन थाना प्रभारी लोवंशी द्वारा आईपीसी की धारा 147,148,149,294,323,506 बी का प्रकरण दर्ज किया गया। पीड़ितों ने प्रशासनिक अधिकारियों से निवेदन किया कि मौका मुआयना कर निश्पक्ष जांच करे लेकिन आज तक पीड़ितों की कोई सुनवाई नहीं हुई है।
मृतक प्रदीप कुमार का चाचा बंसीलाल का का लड़का मुकेश उम्र 14 वर्ष के साथ आरोपी कपिल चौहान,पवन, मानव, नरेश उर्फ गुरी, नरेंद्र, भानु, हिमांशु गोदारा ने कुछ सामान्य बातचीत को लेकर फहुती बस स्टैंड पर गंभीर मारपीट की, जिसकी वजह से उसके शरीर पर चोटें आई और वह घायल हो गया।जैसे तैसे मुकेश उनके चंगुल से छुड़ाकर भाग कर अपने घर आ गया और मारपीट की घटना के बारे में जानकारी अपने ताऊ के लड़के प्रदीप कुमार को दी। प्रदीप कुमार ने अपने फोन से आरोपी कपिल के मोबाइल पर फोन किया और कहा कि मुकेश के साथ मारपीट क्यों कि है ? इसके जवाब में कपिल ने कहा कि अभी तो मुकेश को तो पीटा है लेकिन तुझ में कुछ ज्यादा गर्मी है तो नहर पर रात 9:00 बजे आ जाना, तेरे को भी देख लेंगे। इस प्रकार से कहासुनी हुई और बात खत्म हो गई लेकिन आरोपी कपिल के द्वारा कहने व गर्मी निकालने व रात को 9:00 बजे लक्ष्मीनारायण नहर के पास, बुलाया गया। प्रदीप कुमार को वहां जाने पर आरोपियों ने देशी कट्टे से गोली मारकर हत्या कर दी।
Jitendra Khatik's son Tarachand Khatik on 26th February, 2020 at around 12.00 am under the auspices of the police officer in compliance with the direction of the Superintendent of Police, after arresting the deceased from the Jodhpur shop on the pretext of making false and false inquiries for buying iron oil pipes. he was taken and inhuman torture and beaten and was confessed to confessing the crime and kept in illegal custody for 24 hours and was subjected to severe beatings and torture by the police which led to his death in police custody.